Pitra Dosh Nivaran
* त्रिपिंडी श्राद्ध *:
त्रिपिंडी श्राद्ध विधी यह काम्य श्राद्ध विधी है। इस श्राद्ध का उद्देश यह है की,
अगर सलग तीन साल तक अपने पितरोंका श्राद्ध किया गया नही तो उन्हे प्रेतत्व
आ जाता है। यह प्रेतत्व दूर करने के लिए यह त्रिपिंडी श्राद्ध विधी किया जाता है।
त्रिपिंडी श्राद्ध यह विधी एक दिनमें संपन्न होता है।
* इस विधी के लिए निम्नलिखित सामान आपने साथमें लाना चाहिए।
धोती, गमछा, नॅपकीन, धर्मपत्नी के लिए साडी, ब्लाऊज आदी।
विधी के कार्यक्रम के बाकी आवश्यक सारा सामान हमारे यहाँ उपलब्ध रहता है।
* कालसर्प शांती*:
जन्मकुंडली में राहू और केतू इन ग्रहों के बिचमें सभी ग्रह आते
है । या राहू ग्रह अशुभ स्थान में होगा तो कालसर्प योग निर्माण होता है। राहू आदि
एवं प्रत्यादी देवता काल तथा सर्प यह है । राहू अगर कुंडली में शुभ स्थान में हो तो
लाभदायक, भाग्यदायक व पराक्रमी होता है।
उसका प्रभुत्व मंत्र, तंत्र तथा अघोरी विद्या इनके यहाँ होता है। परंतू राहू
अगर अशुभ स्थान में हो तो, स्मृतीनाश, विद्यानाश, अपकिर्ती, पिशाच्च बाधा
तथा संतती को अपायकारक होता है। इस वजह सारे काम विलंब से होते है। यह
दोष का निवारण करने के लिए कालसर्प योग शांती करनी चाहिए।
कालसर्प शांती एक दिन में संपन्न होनेवाला विधी है।
* इस विधी के लिए निम्नलिखित सामान अपने साथ लाना चाहिए।
धोती, गमछा, नॅपकीन, धर्मपत्नी के लिए साडी, ब्लाऊज आदी ।
विधी के कार्य में बाकी आवश्यक सामान हमारे यहाँ उपलब्ध रहता है ।
* सुवर्ण नाग प्रतिमा (यथाशक्ती) लायिए ।:
कालसर्प योग शांति पूजा के लिए अपना नाम 8 या 4 दिन पहले दूरध्वनी अथवा
पत्र द्वारा आरक्षण किजीए।
हमारे यहाँ महामृत्युंजय जाप-हवन, सभी प्रकार के शांती कर्म,
वास्तुशांती, नवचंडी, महारुद्र आदी सभी धार्मिक विधी किए जाते है।
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